आज के समय में अधिकांश व्यक्ति अपने चेहरे पर एक मुखौटा लगाकर रहते हैं | समाज के सामने उनका एक रूप होता है , जिसमे लोग उन्हें बहुत सभ्य, उदार ह्रदय और मिलनसार कहते हैं । लेकिन यह उनका वास्तविक रूप नहीं होता । इस मुखौटे के पीछे वे भ्रष्टाचारी , एक शातिर अपराधी होते हैं । अपनी असलियत छुपाये रखने के लिए ही उनका सारा प्रयास होता है । ऐसे लोग स्वयं अशांत रहते हैं और समाज में अशान्ति उत्पन्न करते हैं ।
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